
नवरात्रि में माता दुर्गा को कैसे प्रसन्न करें।
नवरात्रि के 9 दिनों में माता दुर्गा के नौ रूपों की पूजा की जाती है, जिनके नाम हैं: शैलपुत्री, ब्रह्मचारिणी, चंद्रघंटा, कूष्मांडा, स्कंदमाता, कात्यायनी, कालरात्रि, महागौरी, और सिद्धिदात्री.
यहां नवरात्रि के 9 दिनों में माता दुर्गा के नौ रूपों के नाम दिए गए हैं:
पहला दिन: मां शैलपुत्री
दूसरा दिन: मां ब्रह्मचारिणी
तीसरा दिन: मां चंद्रघंटा
चौथा दिन: मां कूष्मांडा
पांचवां दिन: मां स्कंदमाता
छठा दिन: मां कात्यायनी
सातवां दिन: मां कालरात्रि
आठवां दिन: मां महागौरी
नौवां दिन: मां सिद्धिदात्री
प्रथमं शैलपुत्री च द्वितीयं ब्रह्मचारिणी।
तृतीयं चन्द्रघण्टेति कूष्माण्डेति चतुर्थकम् ।।
पंचमं स्कन्दमातेति षष्ठं कात्यायनीति च।
सप्तमं कालरात्रीति महागौरीति चाष्टमम् ।।
नवमं सिद्धिदात्री च नवदुर्गा: प्रकीर्तिता:।
उक्तान्येतानि नामानि ब्रह्मणैव महात्मना ।।
नवरात्रि के नौ दिनों का महत्व
पहला दिन मां शैलपुत्री का है। देवी को गुड़हल, सफेद कनेर या चमेली के फूल बहुत प्रिय हैं। मां शैलपुत्री को ये फूल चढ़ाने से सुख, शांति और स्थिरता की प्राप्ति होती है।
दूसरा दिन मां ब्रह्मचारिणी का है। देवी को कमल का फूल चढ़ाना शुभ माना जाता है। कहते हैं कि मां ब्रह्मचारिणी को ये फूल अर्पित करने से ज्ञान की प्राप्ति होती है।
तीसरा दिन मां चंद्रघंटा का है। मां का प्रिय फूल कमल, बेला और चमेली है। देवी को ये फूल चढ़ाने से साहस, पराक्रम की प्राप्ति होती है।
चौथा दिन का मां कूष्मांडा का है। माता रानी को गुड़हल व पीले कनेर के फूल पसंद हैं। कहा जाता है कि इन फूलों को चढ़ाने से रोग-शोक दूर होते हैं और आरोग्य की प्राप्ति होती है।
पांचवां दिन मां स्कंदमाता का है। देवी को कमल, गुड़हल और गुलाब का फूल बहुत प्रिय है। स्कंदमाता माता को कमल का फूल चढ़ाने से संतान सुख की प्राप्ति होती है। साथ ही संतान से जुड़ी मुश्किलें दूर होती हैं।
छठा दिन मां कात्यायनी का है। देवी को गेंदा, कमल व गुड़हल का फूल अर्पित करना बहुत फलदायी माना जाता है। कहते हैं कि ये फूल अर्पित करने से विवाह में आ रही बाधाएं दूर होती हैं और मनचाहे जीवनसाथी की प्राप्ति होती है।
सातवां दिन मां कालरात्रि का है। देवी का प्रिय फूल रातरानी व गुड़हल है। ये फूल चढ़ाने से भय, दुख और नकारात्मकता से मुक्ति मिलती है।
आठवां दिन मां महागौरी का है। मां का प्रिय फूल सफेद मोगरा व बेला, चमेली है। मां महागौरी को सफेद फूल बहुत प्रिय हैं। इन्हें चढ़ाने से पापों से मुक्ति मिलती है।
नौवां दिन मां सिद्धिदात्री का है। जगदंबा का प्रिय फूल कमल व चंपा है। ये फूल अर्पित करने से सभी सिद्धियों की प्राप्ति होती है और हर काम में सफलता मिलती है।
फूल चढ़ाते समय इन बातों का रखें ध्यान
फूल हमेशा ताजे और साफ होने चाहिए।
बासी या मुरझाए हुए फूल कभी न चढ़ाएं।
फूलों को तोड़ने से पहले स्नान करें और साफ कपड़े पहनें।
फूल चढ़ाते समय मन में पूरी श्रद्धा और भक्ति होनी चाहिए।
अगर कोई विशेष फूल न मिल पाए, तो आप गुड़हल के फूल भी देवी को चढ़ा सकते
हैं, क्योंकि यह माता रानी का प्रिय है।
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